कभी सनम को छोड़ के देख लेना,

*कभी सनम को छोड़ के देख लेना, कभी शहीदों को याद करके देख लेना, कोई महबूब नहीं है वतन जैसा यारो, मेरी तरह देश से कभी इश्क करके देख लेना.. **
*वंदे मातरम*

*कुछ नशा तिरंगे की आन का है ,*
*कुछ नशा मातृभूमि की शान का है ,*
*हम लहरायेंगे हर जगह ये तिरंगा , नशा ये हिन्दुस्तां के सम्मान का है ..*

*मेरी धडकनो में धडकता रहे तु , मेरे देश तुझको नमन है मेरा, जीऊं तो जुबां पर तेरा नाम हो मरूं तो
*वतन हमारा ऐसा कोई छोड़ ना पाये ,*
*रिश्ता हमारा कोई तोड़ ना पाये ,*
*दिल एक है हमारा और एक जान है , हिंदुस्तान हमारा है हम इसकी शान है ..*
 *मैं भारत बरस का हरदम अमित सम्मान करता हूँ यहाँ की चांदनी मिट्टी का ही गुणगान करता हूँ, मुझे चिंता नहीं है स्वर्ग जाकर मोक्ष पाने की, तिरंगा हो कफ़न मेरा, बस यही अरमान रखता हूँ।.                 *दे सलामी इस तिरंगे को जिससे तेरी शान है . सिर हमेशा ऊँचा रखना इसका जब तक दिल में जान *जिसके दिल में , प्यार नहीं, आजादी का , हक़दार नहीं. मेरा वतन , गुलज़ार है , यहाँ ख़ा